गूगल ट्रांसलेटर बना विदेश से इलाज के लिए आने वाले अभिभावकों के लिए वरदान
प्रयागराज। सेरेब्रल पाल्सी से प्रभावित बच्चो के इलाज के देश से ही नहीं बल्कि विदेशो से भी लोग प्रयागराज स्थित त्रिशला फाउंडेशन में इलाज करने के लिए आते है।
प्रयागराज। सेरेब्रल पाल्सी से प्रभावित बच्चो के इलाज के देश से ही नहीं बल्कि विदेशो से भी लोग प्रयागराज स्थित त्रिशला फाउंडेशन में इलाज करने के लिए आते है। विदेश से आये लोगो को यहाँ आने पर कई तरह की कठिनाइयो का भी सामना करना पड़ता और इन्ही में से एक सबसे बड़ी कठिनाई है भाषा को ना समझ पाना।
इस समस्या का बहुत ही रोचक समाधान निकालाएसाउथ अफ्रीकन कंट्री अंगोला से आये 14 वर्ष के श्फेर्नादेस औरो मार्कोस के 20वर्षीय बड़े भाई फेर्नान्देस रिवाल्डो रोला अल्वेस ने। अल्वेस को हिंदी एवं इंग्लिश दोनों ही भाषाओ की समझ नहीं है और वो केवल अपने मातृभाषा पुर्तुगी में ही बात कर पाते थे। ऐसे में यहाँ आकर इलाज कराना शायदअसंभव ही हो जाता यदि गूगल ट्रांसलेटर का सहारा उन्हें नामिला होता।
ओरियोडाईप्लेजिक सेरेब्रल पाल्सी से प्रभावित है। ये अपने बड़े भाई के साथ 15 मई को प्रयागराज पहुचे और अंगोला से प्रयागराज तक का सफ़र इन्होने गूगल ट्रांसलेटर की सहायता से ही पूरा किया। जहां भी इन्हें किसी से बात करने की आवशकता होती ये गूगल ट्रांसलेटर पर टाइप करके उसे दिखा कर बात करते हैं। अपने भाई को ठीक करने का ये जज्बा सच में काबिले तारीफ है।
प्रयागराज में इसी तरह और भी अलग अलग विभिन्न देशों बांग्लादेश से अब्दुल रहमान, श्रीलंका से क्रिस्टीना, कनाडा से ईजा आलिम, अमेरिका से अब्दुलाही, मलेशिया से हर अन्जुनी आदि से अभिभावक आकर रुके हुए है, जो हर तरह की समस्याओं का सामना करके अपने बच्चो को किसी भी तरह ठीक करने का जज्बा लेकर यहाँ रह रहे है।
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