बरेली: बिथरी ब्लॉक प्रमुख के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव खारिज, पूर्व ब्लॉक प्रमुख का भाजपा से इस्तीफा

अविश्वास प्रस्ताव में शामिल 82 में से नौ सदस्यों ने पलटी मारी, जिलाधिकारी को ब्लॉक प्रमुख के समर्थन में दिया पत्र

बरेली/बिथरी चैनपुर: बिथरी चैनपुर की ब्लॉक प्रमुख को कुर्सी से हटाने के लिए भाजपा के ही दो धड़ों में छिड़ी जंग में मंगलवार को नया मोड़ आ गया। अविश्वास प्रस्ताव के समर्थन में शपथपत्र देने वाले नौ बीडीसी सदस्य भाजपा के आंवला जिलाध्यक्ष की अगुवाई में कलेक्ट्रेट पहुंचकर जिलाधिकारी को ब्लॉक प्रमुख ब्रजेश कुमारी के पक्ष में समर्थन पत्र देकर अपने शपथपत्र को अमान्य करने की मांग की। दो-तिहाई बहुमत न रह जाने पर अविश्वास प्रस्ताव को खारिज कर दिया गया। इसके बाद अविश्वास प्रस्ताव की अगुवाई करने वाले पूर्व ब्लॉक प्रमुख बृजेंद्र सिंह ने भाजपा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया।

बिथरी के सभी नौ सदस्यों ने जिलाधिकारी को दिए पत्र में कहा है कि उनसे गुमराह करके अविश्वास प्रस्ताव के समर्थन में शपथपत्र लिए गए थे। बिथरी ब्लॉक प्रमुख के खिलाफ अक्टूबर में पूर्व ब्लॉक प्रमुख एवं बीडीसी सदस्य बृजेंद्र सिंह के नेतृत्व में 82 सदस्यों ने शपथ पत्र के साथ डीएम को अविश्वास प्रस्ताव का पत्र दिया था।

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भाजपा में अविश्वास प्रस्ताव को लेकर चल रही खींचतान के बीच प्रशासन की जांच में यह मामला लटका हुआ था। इसी बीच तेजपाल, अबरार, आरती देवी, मुकेश, महिपाल सिंह, रिशभ कुमार, अमित कुमार, मिथलेश, तारावती समेत नौ सदस्यों ने मंगलवार को जिलाधिकारी को दोबारा शपथ पत्र दिया जिसमें कहा गया है कि उन्हें गुमराह कर अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में शपथ पत्र लिए गए थे।

ब्लॉक प्रमुख ब्रजेश कुमारी ने बताया कि अविश्वास प्रस्ताव के लिए दो-तिहाई सदस्यों का समर्थन चाहिए होता है। ब्लॉक में 112 क्षेत्र पंचायत सदस्य हैं। अविश्वास प्रस्ताव के लिए 74 बीडीसी सदस्यों का समर्थन जरूरी था। विपक्ष ने 82 सदस्यों का समर्थन पत्र दिया था। अब नौ सदस्यों के समर्थन वापस लेने से विपक्ष में 71 सदस्य ही रह गए हैं। इसी कारण जिलाधिकारी ने अविश्वास प्रस्ताव खारिज कर दिया है। जिला पंचायत राज अधिकारी धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि नौ सदस्यों के नाम वापस लेने के बाद ब्लॉक प्रमुख की कुर्सी पर खतरा टल गया है। वह अपने पद पर बनी रहेंगी।

 लोग कुर्सी के लिए पार्टी में आए थे, कुर्सी नहीं मिली तो पार्टी छोड़ दी। उन्होंने सदस्यों को गुमराह कर अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में शपथ पत्र ले लिए थे। सच का पता चलने पर सदस्यों ने समर्थन वापस ले लिया--- हरेंद्र पटेल, ब्लॉक प्रमुख के पति।

बृजेंद्र सिंह को पार्टी से निकालने की संस्तुति क्षेत्रीय अध्यक्ष दुर्विजय सिंह शाक्य को पहले ही भेजी जा चुकी थी। मंगलवार को नौ सदस्य मेरे साथ जिलाधिकारी से मिले और ब्लॉक प्रमुख को समर्थन दिया। इससे अविश्वास प्रस्ताव खारिज हो गया--- आदेश प्रताप सिंह, जिलाध्यक्ष आंवला भाजपा।

प्रदेश अध्यक्ष के निर्देश के बाद कुर्सी बचाने में जुटे वरिष्ठ नेता
बिथरी ब्लॉक प्रमुख ब्रजेश कुमारी को कुर्सी से हटाने की मुहिम सितंबर में शुरू हुई थी जिसके बाद इसकी गूंज लखनऊ तक पहुंची थी। प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी की ओर से निर्वाचित ब्लॉक प्रमुख को नुकसान न होने देने और मामले को सुलझाने के निर्देश देने के बाद पार्टी के वरिष्ठ नेता सक्रिय हुए थे और ब्लॉक प्रमुख की कुर्सी बचाने में जुट गए थे। ब्रजेश कुमारी के पति हरेंद्र पटेल विश्व हिंदू परिषद के नेता हैं। इस मामले में सांसद संतोष गंगवार, धर्मेंद्र कश्यप और विधायक डॉ. राघवेंद्र शर्मा ने दोनों पक्षों से बातचीत की थी।

बाजी पलटने के बाद पूर्व ब्लॉक प्रमुख का भाजपा से इस्तीफा
ब्लॉक प्रमुख ब्रजेश कुमारी के तख्तापलट के लिए 82 सदस्यों को एकजुट कर अविश्वास प्रस्ताव लाने की मुहिम की अगुवाई करने वाले पूर्व ब्लॉक प्रमुख एवं बीडीसी सदस्य बृजेंद्र सिंह ने यह बाजी पलटने के बाद मंगलवार को भाजपा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी को रजिस्ट्री से भेजे इस्तीफे में कहा है कि ब्लॉक प्रमुख ब्रजेश कुमारी पर 80 बीडीसी मेंबरों ने भ्रष्टाचार का आरोप लगाकर जिलाधिकारी को अविश्वास प्रस्ताव दिया था।

जनता में छवि खराब होने के बावजूद भाजपा के जनपद स्तरीय नेताओं ने भ्रष्ट ब्लॉक प्रमुख का खुलकर समर्थन किया है। प्रशासन पर दबाव बनाकर बीडीसी मेंबरों का शोषण करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा है कि उनका भ्रष्ट ब्लॉक प्रमुख के पक्ष में खड़ा होना संभव नहीं है। इसलिए वह पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से त्यागपत्र दे रहे हैं।

इस्तीफा देने के बाद उन्होंने प्रेसवार्ता कर जिले के एक सांसद और विधायक पर जोरदार हमला करते हुए अविश्वास प्रस्ताव का समर्थन करने वाले 82 सदस्यों के घरों पर पुलिस भेजकर उत्पीड़न कराने का आरोप लगाया। चेतावनी दी कि अगर बीडीसी सदस्यों का और उत्पीड़न किया तो वे सभी पद से इस्तीफा दे देंगे।

Edited By: Ballia Tak

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